दिल्ली सरकार के मंत्री प्रवेश साहिब सिंह वर्मा की अध्यक्षता में बुधवार (25 जून) को एनडीएमसी की तीसरी परिषद बैठक हुई. इस दौरान कई प्रस्ताव पारित किए गए. इन प्रस्तावों का उद्देश्य दिल्ली की आध्यात्मिक विरासत को सम्मान देना और सार्वजनिक सुविधाओं को व्यापक रूप से उन्नत करना है.

इस बैठक में संसद सदस्य बांसुरी स्वराज, एनडीएमसी उपाध्यक्ष कुलजीत सिंह चहल, विधायक व परिषद सदस्य वीरेंद्र सिंह कादियान, अनिल वाल्मीकि सहित प्रतिनिधि मौजूद रहे. परिषद ने धार्मिक स्थलों के विकास, महिलाओं की सुरक्षा से जुड़ी संरचना और स्वच्छता प्रणालियों को लेकर एक विस्तृत कार्ययोजना प्रस्तुत की. इस दौरान मंत्री प्रवेश वर्मा ने धार्मिक स्थल सौंदर्यीकरण एवं विकास समिति के गठन की घोषणा की.

यह समिति इन कार्यों पर केंद्रित होगी

  • एनडीएमसी क्षेत्र में धार्मिक स्थलों का सर्वेक्षण.
  • श्रद्धालुओं के लिए पेयजल, बैठने की व्यवस्था और स्वच्छता सुविधाओं का उन्नयन.
  • मंदिर परिसरों में रोशनी, रास्तों और सौंदर्यीकरण में सुधार.
  • धार्मिक गतिविधियों में किसी प्रकार का व्यवधान न हो, इसका ध्यान रखते हुए हितधारकों से समन्वय.

‘धार्मिक स्थल केवल आस्था के प्रतीक नहीं…’

मंत्री प्रवेश वर्मा ने कहा, धार्मिक स्थल केवल आस्था के प्रतीक नहीं, बल्कि संस्कृति, सेवा और आत्मिक ऊर्जा के केंद्र होते हैं. उन्होंने कहा कि हमारा प्रयास है कि इन स्थलों को स्वच्छ, सुरक्षित और स्वागतपूर्ण बनाया जाए.

1. हर बाजार में पिंक टॉयलेट

2. नई रोड-स्वीपिंग मशीनों की खरीदी

3. झुग्गी क्लस्टरों और धोबी घाटों का उन्नयन

4. सार्वजनिक शौचालयों की बेहतर देखरेख

हर बाजार में महिलाओं के लिए पिंक टॉयलेट

इसके साथ ही एनडीएमसी के हर बाजार में महिलाओं के लिए पिंक टॉयलेट बनाए जाने की योजना सहित कई जनहित प्रस्ताव पारित हुए. एनडीएमसी के उपाध्यक्ष कुलजीत सिंह चहल के मुताबिक इन पिंक टॉयलेट में महिला सुरक्षा गार्ड, सफाई कर्मचारी, सैनिटरी नैपकिन वेंडिंग मशीन, बेबी केयर जोन के साथ ही पीने के पानी जैसी सुविधाएं मुहैया कराई जाएंगी. यह पहल महिलाओं की गरिमा और सुरक्षा की दिशा में एक ठोस कदम है.